यह फर्जी बाबा यूनाइटेड नेशंस तक को बेवकूफ बनाने में सफल रहा। खुद का बनाया संविधान, खुद का झंडा, पासपोर्ट यहां तक कि खुद का नेशनल एंथम भी बना डाला। जब ये सिर्फ 12 साल का था तभी इसकी बॉडी में एक जेनेटिक म्यूटेशन आ गया था। जिसके कारण यह ना तो मेल है ना ही फीमेल है। सितंबर 2018 में तो इसने यह तक कह दिया कि यह एक साल के अंदर-अंदर जानवरों को तमिल और संस्कृत बोलना सिखा सकता है। वी आर गोइंग टू हैव बुल्स एंड काऊस व्हिच विल टॉक टू यू वेरी क्लियरली लेजिटमेटली इन संस्कृत
एंड तमिल। सबको ऑफर किया गया है कि आप लोग जाकर इस देश की ई सिटीजनशिप भी ले सकते हो। वो भी बिल्कुल फ्री में। सिर्फ कुछ क्लिक्स करो और आपको इस देश की सिटीजनशिप मिल जाएगी। नमस्कार दोस्तों, विजय मालिया और नीरव मोदी की कहानी तो हम में से हर कोई जानता है। वो लोग जिन्होंने हजारों करोड़ का घोटाला किया और देश छोड़कर भाग गए। लेकिन इमेजिन करो एक ऐसा फ्रॉडस्टर जो ना सिर्फ देश छोड़कर जाता है बल्कि बाहर जाकर अपना खुद का एक नया देश ही बना लेता है। द यूनाइटेड स्टेट्स ऑफ कैलासा एक सेल्फ
प्रोक्लेम्ड हिंदू राष्ट्र एक ऐसा देश जिसका खुद का अपना संविधान अपना पासपोर्ट अपना एंबेलम यहां तक कि अपना झंडा और अपना नेशनल एंथम ही है। भैया सोने ये कहानी इतनी अजीबोगरीब है कि इस पर अपनी एक थ्रिलर फिल्म बन सकती है। एक ऐसा फर्जी बाबा जो ना सिर्फ अपने हजारों अंधभक्तों को बल्कि यूनाइटेड नेशंस तक को बेवकूफ बनाने में सफल रहा। आई एम हियर रिप्रेजेंटिंग द यूनाइटेड स्टेट्स ऑफ कैलासा। इसने दर्जनों अमेरिकन साउथ अमेरिकन पॉलिटिशियंस गवर्नमेंट ऑफिशियल से लेकर अमेज़ॉन जंगल में रहने वाले आदिवासियों तक को स्कैम किया। इसीलिए शायद से इसे दुनिया का सबसे
बड़ा सबसे कमाल का स्पिरिचुअल स्कैम कहा जा सकता है। आइए जानते हैं इसकी कहानी गहराई से आज के इस वीडियो में। साल 2010 की बात है। इंडिया में एक वीडियो सामने आता है। भगवा वस्त्र पहने एक बाबा जो ब्रह्मचर्य होने का दावा करता है, वो एक तमिल एक्ट्रेस के साथ आपत्तिजनक स्थिति में दिखाई देता है। न्यूज़ चैनलों में इसकी काफी चर्चा होती है। यह एक्ट्रेस और यह बाबा दोनों इंकार कर देते हैं। कहते हैं कि यह वीडियो फैब्रिकेटेड है। हम नहीं है जो इस वीडियो में दिख रहे हैं। लेकिन करीब से देखने पर एक बच्चा
भी बता सकता था कि इस वीडियो में देखे जाने वाला यह आदमी और कोई नहीं बल्कि स्वामी नित्यानंद था। 2017 में फॉरेंसिक डिपार्टमेंट भी इस चीज को कंफर्म कर देता है। लेकिन इससे कई साल पहले ही यह रिपोर्ट्स आने लग गई थी कि कैसे यह बाबा तांत्रिक सिद्धि के नाम पर महिलाओं के साथ गलत हरकतें करता था और इसके लिए अपने फॉलोअर्स के साथ नॉन डिस्क्लोज़र एग्रीमेंट्स भी साइन करता था। कई महिलाएं जो इस बाबा के आश्रम में गई थी उन्होंने रेप की कंप्लेन करी। रिपोर्ट सामने आने लगी कि इसके आश्रमों में बच्चों का टॉर्चर
भी किया जाता था। एक के बाद एक सबूत इकट्ठे होते जा रहे थे। बाबा के ऊपर लगे केसेस की लिस्ट लंबी होती जा रही थी कि तभी 2014 में नित्यानंद के आश्रम में एक 24 साल की महिला की मौत हो जाती है। अ 24 ईयर ओल्ड वुमेन डिसाइपल हु वाज वि द नित्या आश्रम फॉर फोर इयर्स हैज़ बीन फाउंड डेड। उसकी मां आरोप लगाती है कि आश्रम ने उनकी बेटी का टॉर्चर किया और उन्हें मारा गया। लेकिन नित्यानंद की तरक्की पर इसका ज्यादा कोई असर नहीं पड़ा। उसकी फॉलोइंग बढ़ती गई। देश भर में फैलने लगी।
तेलंगाना, गुजरात, उत्तर प्रदेश, उत्तराखंड, दिल्ली देश के कई राज्यों में इसने अपने नाम पर प्रॉपर्टी खरीदी। लेकिन सवाल यह कि नित्यानंद इस पोजीशन तक पहुंचा कैसे था? आखिर कैसे इसके पीछे इतने भक्तों की लाइन लगी? असल में ये कहानी शुरू होती है दोस्तों, तमिलनाडु में 1 जनवरी 1978। अरुणाचलम राजा शेखरन नाम के एक बच्चे का जन्म होता है। असलियत में इसका बचपन कैसा बीता उसके बारे में ज्यादा कोई पब्लिक इंफॉर्मेशन अवेलेबल नहीं है। लेकिन नित्यानंद दावा करता है कि जब वो 10 साल का था तब अरुणाचला हिल पर मेडिटेशन करते हुए उसे पहली बार डिवाइन
एक्सपीरियंस हुआ। कहा जाता है कि इसने मैकेनिकल इंजीनियरिंग में डिप्लोमा किया और सिर्फ 17 साल की उम्र पर ही इसने अपना घर छोड़ दिया था अपने गुरु की मौत के बाद। साल 2000 में इसके द्वारा अपना पहला आश्रम खोला जाता है तमिलनाडु में। लोगों को अपने जाल में फंसाना, अपना अंधभक्त बनाना कोई ज्यादा मुश्किल काम नहीं था क्योंकि अपने भाषण बड़े ही एकजुरेटेड और एनिमेटेड तरीके से देता था। एव्री पार्ट इज़ इंडिपेंडेंट इलॉजिकल अनकनेक्टेड एंड अनक्लस्ट बिकॉज़ द गैप बिटवीन टू थॉट्स इज टू स्माल। कई और फर्जी बाबाओं की तरह यह भी नाटक करता था
कि इसके पास बड़ी जादुई और बड़ी रहस्यमई शक्तियां हैं। अपनी सभाओं में यह बड़े-बड़े दावे किया करता था। कहता था कि यह कैंसर जैसी बीमारियां ठीक कर सकता है। इसके अलावा इंग्लिश में योगा और स्पिरिचुअलिटी भी पढ़ाने लगा। 2003 तक आते-आते देश की कई जगहों पर साउथ इंडिया में इसके आश्रम खुल चुके थे। बेंगलुरु के पास बिडाड़ी में इसका एक बड़ा आश्रम खुलता है। नित्यानंद ध्यान पीठम। समय के साथ-साथ लोग इसकी बातों में फंसते चले गए और यह और पॉपुलर होता गया। 2010 तक आते-आते इंडिया के बाहर कई देशों में इसके मेडिटेशन सेंटर्स खुल चुके
थे। अमेरिका के दर्जनों शहरों में इसके आश्रम मौजूद थे। लेकिन यही वो साल था जब वो वीडियो सामने आता है। शुरुआत में नित्यानंद ने इस वीडियो को फेक बताया और खुद को नपुंसक और वर्जिन कहा। झूठे एकजुरेटेड भाषण देने की आदत इस वक्त तक इतनी बढ़ चुकी थी कि इसे लगता था यह जो भी कहेगा इसके अंधभक्त उसमें यकीन कर लेंगे। इसीलिए इस वीडियो के पॉपुलर होने के बाद यह दावा करता है कि जब यह सिर्फ 12 साल का था तभी इसकी बॉडी में एक जेनेटिक म्यूटेशन आ गया था। जिसके कारण यह ना तो मेल
है ना ही फीमेल है। असल में नित्यानंद का यह वीडियो आरती राव नाम की एक महिला ने रिकॉर्ड किया था जो उसकी फॉलोअर थी। आई टूक नित्यानंदास परमिशन टू प्लेस एन एयर प्यूरीिफायर इन हज़ रूम इन दिसंबर 2009। द एयर प्यूरीिफायर केम विथ अ हिडन कैमरा व्हिच वाज़ मोशन एक्टिवेटेड। अमेरिका में रहने वाली आरती राव ने आरोप लगाया था कि नित्यानंद ने 5 साल तक उनका रेप किया था। यहीं से ही इस फर्जी बाबा की पोल खुलनी शुरू हो गई थी। बचने के लिए नित्यानंद हिमाचल प्रदेश में एक सीक्रेट लोकेशन पर जा पहुंचा। लेकिन पुलिस
ने इसे ढूंढ निकाला और वहां से गिरफ्तार कर लिया। 50 से ज्यादा दिन तक यह जेल में रहा। किसी और देश में होता तो नित्यानंद की कहानी का दी एंड यहीं पर हो जाता। लेकिन इंडिया में ऐसे फर्जी बाबाओं के पीछे पागल भीड़ की कोई कमी नहीं है। आसाराम से लेकर राम रहीम तक ऐसे कई सारे उदाहरण है फर्जी बाबाओं के जिनके अंधभक्त दोषी ठहराए जाने के बाद भी उन्हीं के पीछे पागल बने रहते हैं। नित्यानंद का केस भी इससे अलग नहीं था। जेल से रिहा किए जाने के बावजूद भी इसकी सभाओं में हजारों लोगों
की भीड़ आ रही थी। नित्यानंद ने अपने खिलाफ एक्शन को बड़ी चालाकी से हिंदू धर्म और एक हिंदू गुरु के ऊपर हमले की तरह दिखा दिया। इसका बिजनेस फिर से चालू हो गया। लेकिन 2014 में फिर खबर आती है आश्रम में 24 साल की महिला की मौत। द मिस्टीरियस एंड सडन डेथ ओवर अ 24 ईयर ओल्ड वुमेन इनसाइड कंट्रोवर्शियल गॉड मैन नितिन एंड आश्रम हैज़ पुट हिम इन द सेंटर ऑफ़ अ कंट्रोवर्सी वंस अगेन। पॉपुलैरिटी पर कोई असर नहीं पड़ा। लेकिन धीरे-धीरे रेप केसेस में शिकंजा कसने लगा था। इस मर्डर और रेप केस के ट्रायल
को टालने की हर कोशिश करी नित्यानंद ने। लेकिन अंत में 2018 में जाकर इस केस का ट्रायल शुरू हो जाता है। इसी समय के बीच वो देश से भागने की प्लानिंग करने लगा। अगस्त 2018 नित्यानंद ने अपने करीबी भक्तों में शामिल सारा लैंड्री नाम की एक महिला के जरिए कनाडा में पॉलिटिकल असाइलम पाने की कोशिश की। यह औरत खुद कनाडा में रहती थी और एक बहुत बड़ी फॉलोअर थी नित्यानंद की। लेकिन जब सारा को पता चला कि नित्यानंद के स्कूल में बच्चों को भूखा रखा जाता है। उन्हें एक दूसरे को पीटने पर मजबूर किया जाता
है तो उनकी आंखों से नित्यानंद की अंधभक्ति की पट्टी खुल गई। जैसे-जैसे आरोप बढ़ते रहे, नित्यानंद की फेंकने की आदत भी बढ़ती रही। सितंबर 2018 में तो इसने यह तक कह दिया कि यह एक साल के अंदर-अंदर जानवरों को तमिल और संस्कृत बोलना सिखा सकता है। वी आर गोइंग टू हैव बुल्स एंड काउस व्हिच विल टॉक टू यू वेरी क्लियरली लेजिटमेटली इन संस्कृत एंड तमिल। इसने कहा कि मैंने जानवरों को यह सिखाने के लिए एक सॉफ्टवेयर डेवलप किया है। आई एम डिक्लेरिंग आफ्टर टेस्टिंग दिस सॉफ्टवेयर यस्टरडे। इट वास परफेक्टली वर्किंग विदिन ए ईयर आई विल
एस्टैब्लिश दिस। एक दूसरे इंस्टेंस में यह राजीव मल्होत्रा के साथ बैठकर एक बहुत ही अजीबोगरीब बिज़नेस आईडिया रखता है। दोनों बात करते हैं कि कैसे बिल गेट्स और वारेन बुफे के लिए इनके पास एक प्रपोजल है। द प्रपोजल इज वी गो टू बिल गेट्स एंड से यू गॉट अ 100 बिलियन। आउट ऑफ द 100 बिलियन यू गिव 50 बिलियन टू अस इंटरेस्ट। टू बी गिवन टू यू इन योर नेक्स्ट लाइफ व्हेन वी फाइंड यू। बिकॉज़ इट इज़ पॉसिबल यू मे बी बोर्ड वैरी पुअर। इफ वी डू लिटिल मोर रिसर्च एंड एस्टैब्लिश द अथॉरिटी। वी कैन
डू दैट। इट इज पॉसिबल या वो लोग अपनी संपत्ति इसे एक पुनर्जन्म ट्रस्ट के जरिए दे दे और अगले जन्म में यह सारी वेल्थ ट्रांसफर कर देगा उनको जब अगले जन्म में पैदा होगा तो इन दोनों ने यह तक कहा कि इनकी आत्मा पर जीपीएस लगाकर यह तक पता लगाया जा सकता है कि अगले जन्म में इनकी आत्मा कहां जन्म लेगी। वी विल फॉलो द जीव आत्मा जीपीएस एंड वेयर ही इज़ बोर्न दे गोज़ देयर एंड गिव हिम हिज मनी एंड से वी आर ऑथराइज़्ड वी हैव क्वालिफाइड दिस इज़ हाउ इट वर्क्स एंड 25% हिज़
आवर्स। इफ द गाय वांट्स टू बी बोर्न इन अ पर्टिकुलर प्लेस ऑफ हिज चॉइस देन द फीस 50% लोगों को बेवकूफ बना बनाकर यह इतना कॉन्फिडेंट हो गया था कि इसे लगने लगा यह अब बिल गेट्स और मुकेश अंबानी को भी बेवकूफ बना सकता है अपनी बिलियंस ऑफ डॉलर्स की वेल्थ इसे देने को बताओ जरा नित्यानंद ने अल्बर्ट आइंस्टाइन के फार्मूला E = MC² को भी गलत घोषित कर दिया। साइंटिस्ट एंड देयर थिअरी आई एम डिबंकिंग ई इक्वल टू नॉट एमसी स्क्वायर। अभी मैं गाली नहीं दे सकता। फैमिली फैमिली देखती है वरना मैं ऐसे। इसकी
ये सारी बातें सिर्फ हंसने वाली नहीं थी। कुछ बड़ी खौफनाक भी थी। जैसे कि एक बार इसने कहा कि दुनिया के 20% लोग कोई जिम्मेदारी नहीं उठाते। उन्हें एलिमिनेट कर देना चाहिए। और ऐसा करना वायलेंस नहीं होगा बल्कि सर्जरी होगा। 100 पीपल आर लिविंग इन अ कम्युनिटी। 80 पीपल आर वेरी रिस्पांस। 20 पीपल आर नॉट रिस्पांसिबल बट इफ दैट बिकम्स 80 नीड टू बी एलिमिनेटेड एलिमिनेटेड एलिमिनेटेड लेकिन इन बड़े-बड़े दावों के बीच इंडिया में नित्यानंद का एंपायर ढहता जा रहा था। 2019 में तमिलनाडु के जनार्दन शर्मा जो नित्यानंद के भक्त थे उन्होंने आरोप लगाया कि
नित्यानंद ने उनकी दो नाबालिक बेटियों को अहमदाबाद में अपने आश्रम में बंदी बनाया हुआ है। नित्यानंद पर किडनैपिंग का एक और केस लगा। इसे 50 से ज्यादा बार सुनवाई के लिए कोर्ट बुलाया जाता है लेकिन यह कोर्ट नहीं जाता। नवंबर 2019 में गुजरात पुलिस इसे गिरफ्तार करने के लिए इसके आश्रम पहुंचती है। लेकिन वहां इसका कोई अता-पता नहीं मिलता। बाद में पता चलता है कि नित्यानंद देश छोड़कर भाग चुका था। देश से भागने के बाद नित्यानंद एक वीडियो जारी करता है जिसमें वो कहता है वो खुद भगवान शिव है। नाउ नोबडी कैन टच मी। मी
आई कैन टेल यू द ट्रुथ। आई एम परम शिवा। कहता है कि अब मुझे कोई छू नहीं सकता। मैं आपको सच बता सकता हूं कि मैं ही परम शिव हूं। कोई स्टूपिड कोर्ट सच उजागर करने के लिए मुझ पर मुकदमा नहीं चला सकता। नो स्टूपिड कोर्ट कैन प्रोसक्यूट मी फॉर रिवलिंग द ट्रुथ। आई एम परम शिवा। इसके कुछ ही दिन बाद दिसंबर 2019 में नित्यानंद ऐलान करता है कि उसने अपना एक अलग देश कैलासा बना लिया है। वी ऑलरेडी हैव अ सावरन टेरिटरी पार कैलासा। इस देश का मकसद है हिंदू सिविलाइजेशन को रिवाइव करना। नित्यानंद
कहता है कि हिंदू खतरे में है। क्रिमिनली नेगिजेंट हिंदूस आर नॉट रियलाइजिंग द एंटी हिंदूस आर अटैकिंग द रियल हिंदूस बिकॉज़ ही स्टुड फॉर द हिंदूस एंड स्टिक दिस नेक आउट हड वास कट। दैट्स ऑल। वही घिसी पिटी स्क्रिप्ट का इस्तेमाल किया जाता है। सोच कर देखो दोस्तों। जब हमारे नेता लोग हिंदुओं को खतरे में बताकर अपनी दुकान चला सकते हैं तो यह फर्जी बाबा क्यों नहीं? यह कहता है कि मैंने कैलासा नाम अपने देश का तिब्बत की कैलाश पर्वत के नाम पर रखा है जिसे हिंदुओं में पवित्र माना जाता है। अखबारों में रिपोर्ट्स आने
लगती है कि नित्यानंद ने साउथ अमेरिकन देश इक्वडोर के पास एक आइलैंड खरीदा है और यहीं पर अपना नया देश बसाया है। बाद में ये खबर जब इंटरनेशनल लेवल पर फैलने लगी तो इक्वडोर की सरकार ने इससे इंकार कर दिया। इक्वेडोर की सरकार ने कहा कि नित्यानंद हमारे देश में आया जरूर था। देश में असाइलम मांगने की कोशिश भी की थी। लेकिन हमने उसे ना तो असाइलम दिया और ना ही आज वह हमारे देश में मौजूद है। मीडिया में खबरें चलने लगी तो सवाल उठा एक्चुअली यह स्वामी नित्यानंद है कहां पर? 2 साल पुराने इस
आर्टिकल को देखिए। इंडिया की फॉरेन अफेयर्स मिनिस्ट्री के अधिकारियों का मानना है कि एक्चुअली में इसने कोई आइलैंड नहीं खरीदा। असल में यह अमेरिका में छुपा हुआ है। यह कैलिफोर्निया में अपना एक बेस बनाने की कोशिश कर रहा है और यहां के सैन होजे में इसका एक बड़ा ऑफिस है। मनी कंट्रोल की इस रिपोर्ट के मुताबिक नित्यानंद इंडिया से भागकर गोरखपुर के रास्ते से पहले नेपाल पहुंचा था। नेपाल में इसने अपना एक नया फेक पासपोर्ट बनवाया जिससे यह अमेरिका पहुंचा और अमेरिका में नित्यानंद वहां रहने वाले एनआरआई से मिला और कैलासा के नाम पर पैसे
मांगे। अमेरिका और कनाडा जैसे देशों में भी इसके बहुत से अंधभक्त मौजूद थे। उनको बेवकूफ बनाने की कोशिश करी इसने। कई लोगों को तो इंस्टेंटली समझ में आ गया कि यह नित्यानंद एक नंबर का फ्रॉड है। लेकिन कुछ लोग ये हिंदू सिविलाइजेशन को रिवाइव करने की बातों से हिंदू खतरे में है कि बातों से इतना प्रभावित थे कि वो इसकी बातों में आकर फंस गए और इसको करोड़ों रुपए डोनेट कर दिए। मुझे तो समझ में नहीं आता कि लोग जादू टोना की इन बातों से इतना प्रभावित कैसे हो सकते हैं। पता नहीं क्या मिरेकल ये
एक्सपेक्ट करते हैं कि एक बाबा कर देगा। एक चीज यहां पर मेरे से लिख कर ले लो। अगर किसी दिन कैंसर का क्योर निकलता है कोई बाबा उस क्योर को नहीं निकालेगा। साइंस और रिसर्च की मदद से ही वो क्योर सामने आएगा। इसलिए इन फर्जी लोगों पर उम्मीद रखने से अच्छा है अपने ऊपर कॉन्फिडेंस रखो। अपने ऊपर पैसे इन्वेस्ट करो नई स्किल्स सीखने में, नॉलेज गेन करने में। इससे आपका भी भला होगा और दुनिया का भी भला होगा। जैसे कि एआई की फील्ड में अगर आप अपने आप को अपस्किल करना चाहते हो तो आप ज्वाइन
कर सकते हो मेरी एआई मास्टर क्लास। एक लाइव वर्कशॉप जहां मैं पर्सनली आकर आपको वो सारे एआई टूल्स सिखाता हूं जो आज दुनिया को बदल रहे हैं। 25 से ज्यादा एआई सॉफ्टवेयर जो आपकी प्रोडक्टिविटी बढ़ा सकते हैं जिनके जरिए आप एआई फोटोस वीडियोस बनाना सीख सकते हैं। एआई के जरिए प्रेजेंटेशंस और वेबसाइट्स बनाना सीख सकते हैं। हजारों लोग इसका ऑलरेडी फायदा उठा चुके हैं। स्क्रीन पर आप देख सकते हैं उन लोगों के रिव्यूज जिन्होंने इसे पिछले महीने अटेंड किया था। यहां आपको स्टेप बाय स्टेप डेमोस मिलेंगे। एक 30 पेज की बोनस चीट शीट पीडीएफ मिलेगी।
प्लस पूरी वर्कशॉप की रिकॉर्डिंग है। अगर आप लाइव इसे अटेंड नहीं कर पाते तो। इसकी कॉस्ट सिर्फ दो मूवी टिकट जितनी है और 74% लोग जिन्होंने इसे पिछले महीने अटेंड किया था उनका कहना है कि इस मास्टर क्लास से उनको कहीं ज्यादा और वैल्यू मिली जितना पैसा उन्होंने इसमें इन्वेस्ट किया था। तो अगर आप इंटरेस्टेड हैं इसे जॉइ करने का लिंक नीचे डिस्क्रिप्शन में मिल जाएगा या फिर आप इस क्यूआर कोड को भी स्कैन कर सकते हैं। अब अपने टॉपिक पर वापस आते हैं वो लोग जिन्होंने करोड़ों रुपए खर्च किए नित्यानंद के फ्रॉड को फंड
करने के लिए। इनमें से एक नाम इंडिया की टॉप आईटी कंपनी के फॉर्मर सीईओ का भी था। जिनका कहना था कि नित्यानंद एक क्रिमिनल नहीं है बल्कि हिंदू धर्म का प्रचारक है। एंटी हिंदू फोर्सेस इसके खिलाफ लगी हुई हैं। सोच कर देखो दोस्तों कितना आसान है बेवकूफ बनाना ऐसे लोगों को। चाहे आप कितने भी बड़े मर्डरर, रेपिस्ट, आतंकवादी क्यों ना हो इन लोगों को जाकर कहो भाई मैं तो हिंदू धर्म का प्रचारक हूं। मेरे खिलाफ जो लोग आरोप लगा रहे हैं वो एंटी हिंदू है। आओ मेरे को बचा लो। आओ मेरे को पैसे दे दो।
कुछ इसी तरीके से इसने कई लोगों को बेवकूफ बना डाला। एक साल के अंदर-अंदर अमेरिका, यूके और एशिया में कम से कम 13 अलग-अलग एनजीओस खोल लिए। जिनमें से 10 सिर्फ अमेरिका में थी। इन एनजीओस से जो डोनेशन मिली उसका इस्तेमाल इसने अपने कैलासा देश की एक्टिविटीज के लिए किया। क्योंकि एनजीओस को मिलने वाली डोनेशन लीगल होती है। तो यह सब कुछ बड़े लीगल तरीके से हो रहा था इंडिया के बाहर। इन बेवकूफ लोगों से मिलने वाले पैसे का इस्तेमाल करके और इन एनजीओस की मदद से नित्यानंद ने यह कैलासा का आईडिया खड़ा किया और
इसे ऐसा दिखाया कि अपने आप में एक अलग देश हो। सोशल मीडिया और इंटरनेट पर कैलासा की एक बड़ी स्ट्रांग प्रेजेंस बनाई गई। कैलासा को डिजिटली वो हर चीज दी गई जो एक असल देश में होती है। यानी कि अपना खुद का झंडा, अपना खुद का कॉन्स्टिट्यूशन, खुद का पासपोर्ट, खुद का एंबेलम, खुद का नेशनल एंथम। इनकी वेबसाइट बड़े ही प्रोफेशनल तरीके से बनाई गई है जिसमें दावा किया गया है कि इनका पासपोर्ट सभी 11 डायमेंशंस और 14 लोको और कैलासा में फ्री एंट्री देता है। फिर बाकी देशों की तरह कैलासा ने भी अपनी एक
यूनिवर्सिटी अपना टीवी चैनल और अपना एक अखबार नित्यानंद टाइम्स खोलने का भी दावा किया। इनकी वेबसाइट पर जाकर आप आज भी देख सकते हो कि कैलासा का खुद का एक रिजर्व बैंक और करेंसी होने का भी दावा किया जा रहा है। इनकी करेंसी है कैलासियन डॉलर। इनका कहना है कि हर कैलाशियन डॉलर एक तोला सोने के बराबर है। द रिजर्व बैंक ऑफ़ कैलाश इज अ लेजिटमेट बॉडी एक्सिस्ट इन दैट कंट्री फंक्शनंस देयर। नित्यानंद ने बार-बार हिंदू सेंटीमेंट्स को भड़काने की पूरी कोशिश की है। अपने देश को वटिकन सिटी जैसा बनाने की कोशिश की है। वटिकन
सिटी को कैथोलिक चर्च की हाईएस्ट रिलीजियस सीट माना जाता है। कैलासा की वेबसाइट पर इसे हिंदू धर्म का वटिकन बताया गया है। इसे द सोवरन ऑर्डर ऑफ कैलासास नित्यानंद चलाता है। जो कैथोलिक चर्च की गवर्निंग बॉडी द होली सी से इंस्पायर्ड है। यहां पर इन्होंने इसका शॉर्ट फॉर्म भी बना लिया एस ओके एन। क्रिश्चियनिटी में जो दर्जा पोप को दिया जाता है, कैलासा ने हिंदू धर्म में वही चीज करने की कोशिश करी और नित्यानंद को खुद वो दर्जा देने की कोशिश की। खुद को हिंदू धर्म का सर्वोच्च गुरु कहा। जबकि असलियत में हिंदू धर्म में
ऐसा कोई पद नहीं होता। बाकी देशों की तरह कैलासा की सरकार में ट्रेजरी, कॉमर्स, हाउसिंग जैसे डिपार्टमेंट्स भी बनाए गए। कुल 18 डिपार्टमेंट्स जिन्हें वेदों पर बेस्ड बताया गया। वेबसाइट पर लिखा है कि सताए गए हिंदुओं के लिए कैलासा एक नया घर है और सबको ऑफर किया गया है कि आप लोग जाकर इस देश की ई सिटीजनशिप भी ले सकते हो। वो भी बिल्कुल फ्री में। सिर्फ कुछ क्लिक्स करो और आपको इस देश की सिटीजनशिप मिल जाएगी। लेकिन कुछ रिक्वायरमेंट्स है। इसके लिए आपको हिंदू होना जरूरी है ये कहते हैं। और अफसोस की बात पता
है क्या है दोस्तों? इनके अनुसार 12 लाख से ज्यादा लोगों ने अप्लाई किया इनकी देश की ई सिटीजनशिप लेने के लिए भी। क्या इतना आसान है लोगों को धर्म के नाम पर बेवकूफ बनाना? इतनी स्ट्रांग ऑनलाइन प्रेजेंस देखकर कई सारे लोगों को लगने लगा कि ये तो सही में कहीं असली देश तो नहीं है। लेकिन इनकी वेबसाइट पर जाकर अगर आप इनके एआई चैट बॉट से बात करेंगे तो ये आपसे ईमेल और फोन नंबर मांगता है। बार-बार यही मांगते रहता है। तो हमने इसे नित्यानंद इज अ भगोड़ा कैलासा.com ईमेल आईडी दे दी। और फिर हमने
पूछा बताओ जरा यह कैलासा है कहां पर? तो जवाब में सिर्फ एरर लिखा आता है इस एआई चैट व में। लेकिन यह कहानी सिर्फ इस ऑनलाइन प्रेजेंस तक खत्म नहीं होती। नित्यानंद दूसरे देशों में अपने कैलासा देश के डिप्लोमेट्स भी भेजने लगा। यह किया गया ताकि इंटरनेशनल लेवल पर इसे क्रेडिबिलिटी मिल सके। यह डिप्लोमेट्स नित्यानंद के सबसे वफादार अंधभक्त होते हैं। झूठी कहानियां और झूठे क्लेम्स के बल पर यह कई दूसरे देशों के अधिकारियों से मिलने में सक्सेसफुल भी रहे। और इन मीटिंग्स की तस्वीरें खींचकर सोशल मीडिया पर डाला गया जिससे कि कैलासा को ऐसा
दिखाया जा सके कि इंटरनेशनल रिकॉग्निशन यहां मिल रहा है। स्कैम अपनी चरम सीमा पर तो तब पहुंचा जब फरवरी 2023 में यूनाइटेड नेशंस की एक मीटिंग में विजयप्रिया नित्यानंद को भेजा गया। इसने खुद को यूनाइटेड नेशंस में कैलासा का परमानेंट एंबेसडर बताया। इस औरत ने यूनाइटेड नेशंस की कॉन्फ्रेंस में जाकर कहा कि कैलासा हिंदुओं का पहला सोवरन देश है और इंडिया नित्यानंद को प्रताड़ित कर रहा है। कैलासा इस द फर्स्ट सोवरन स्टेट फॉर हिंदू व्हिच इज़ एस्टैब्लिश्ड बाय द सुप्रीम पंटिव ऑफ़ हिंदूइज़्म नित्यानंद परमेश्वरम। द सुप्रीम पों्टिव ऑफ़ हिंदूइज़्म एंड कैलासा हैव गॉन थ्रू इंटेंस
पर्सक्यूशन एंड ह्यूमन राइट्स वायलेशन फॉर रिवाइविंग द इंडीजनस ट्रेडिशंस एंड लाइफस्टाइल एंड लाइफस्टाइल ऑफ़ हिंदूइज़्म। एंड ही वास इवन बैंड फ्रॉम प्रीचिंग एंड एक्साइड फ्रॉम हिज बर्फ कंट्री। कैलासा की इस रिप्रेजेंटेटिव को देखकर दुनिया में हर कोई हैरान रह गया। इसी तरह अक्टूबर 2022 में जब ब्रिटेन के हाउस ऑफ लॉर्ड्स में दिवाली की पार्टी हुई तो इसके ब्रोशर में कैलासा का पूरा पेज का एक ऐड था जिसमें नित्यानंद की तस्वीरें भरी हुई थी। नित्यानंद के कुछ समर्थक भी इस पार्टी में शामिल थे। पार्टी के बाद कैलासा यूके ने ट्वीट कर दिखाया कि कैसे वह बड़े-बड़े
लोगों के साथ ब्रिटेन की संसद में दिवाली मना रहा है। 2023 में अमेरिका के न्यू जर्सी के बड़े शहर न्यूयॉर्क के साथ कैलासा ने एक सिस्टर सिटी एग्रीमेंट किया। साइनिंग सेरेमनी में इस शहर के खुद के मेयर भी मौजूद थे। ये कैसे पॉसिबल हो गया? नित्यानंद के अंधभक्तों ने एक्चुअली में जाकर इन अधिकारियों को बेवकूफ बनाया और कहा कि कैलासा इक्वाडोर के पास एक हिंदू आइलैंड नेशन है। इन न्यू जर्सी के पॉलिटिशियंस ने इस चीज को चेक नहीं किया और सीधा हां कर दिया। ऑब्वियसली जब बाद में सच पता चला तो मेयर ने इस एग्रीमेंट
को रद्द किया। अ फ्यू डेज आफ्टर द पेपर्स साइन सिटी काउंसिल सग्रीमेंट दिस ओवर लेकिन कैलासा ने अपनी वेबसाइट पर इस सिस्टर सिटी एग्रीमेंट को ऐसा दिखाया मानो जैसे अमेरिका ने इस पूरे देश को ही रेग्नाइज कर दिया हो। 2023 में ही नित्यानंद के अंधभक्त पैरेगुए सरकार के एक अधिकारी को भी बेवकूफ बनाने में सफल रहे। उस अधिकारी के साथ बात करके कैलासा के लिए एक मेमोरेंडम ऑफ अंडरस्टैंडिंग साइन करवाया गया। इसमें एक क्लॉज़ था कि पैरागुए का देश कोशिश करेगा कि कैलासा को यूनाइटेड नेशंस जैसी इंटरनेशनल बॉडीज में रिकॉग्निशन और जगह मिल सके। पैरागु
एग्रीड टू एक्सप्लोर डिप्लोमेटिक रिलेशंस विथ कैलासा एंड सपोर्ट द एडमिशन ऑफ़ कैलासा एस अ सोवन नेशन। मीनवाइल कैलासा वुड ऑफर हेल्प टू पैरागु टू इन अ वैरायटी ऑफ़ इश्यूज इंक्लूडिंग इरिगेशन। हालांकि यहां पर भी बाद में जब यह खबर पब्लिक हुई तो इस अधिकारी को फायर कर दिया गया अपनी जॉब से। आप समझ सकते हो दोस्तों कुछ इसी तरीके से नित्यानंद के लोग खुद को हिंदू धर्म का रिप्रेजेंटेटिव बताकर पूरी दुनिया को स्कैम कर रहे थे। धीरे-धीरे इनका कॉन्फिडेंस इतना बढ़ने लगा कि यह सच में अपना देश बसाने की प्लानिंग करने लगे। इन सारी इंटरनेशनल
मीटिंग्स और इतनी स्ट्रांग ऑनलाइन प्रेजेंस के बाद कैलासा के देश के पास बस एक चीज की कमी थी और वो चीज थी जमीन। इस देश के पास सब कुछ था लेकिन खुद की जमीन नहीं थी। इसी कारण से 2024 में कैलासा के लोग टूरिस्ट बनकर साउथ अमेरिका के देश बोलेविया पहुंच गए। यहां उन्होंने अमेज़ॉन जंगल में रहने वाले कुछ आदिवासियों को फंसाने की कोशिश की उनकी जमीन हड़पने के लिए। इससे पहले कैलासा के लोग बोलीविया देश के प्रेसिडेंट लुईस आरके के साथ फोटो खिंचवाने में भी सक्सेसफुल रहे थे। जिसकी वजह से उनके लिए यह स्कैम
करना और आसान हो गया था। एक आदिवासी ग्रुप के सदस्य पेड्रो गवासीिको ने बताया कि कैलासा के लोगों ने पहले आकर उन्हें फॉरेस्ट फायर से निपटने की मदद करने का ऑफर दिया था। इसके बाद वह जमीन लीज पर लेने की बात करने लगे और पेड्रो का ग्रुप 25 साल की लीज के लिए तैयार हो गया। इस लीज के बदले उन्हें हर साल $ लाख देने का प्रॉमिस किया था कैलासा के लोगों ने। जो जमीन यहां लीज़ पर ली जा रही थी Amazon जंगल में वो नई दिल्ली से तीन गुना ज्यादा बड़ी जमीन थी। लेकिन जब
कैलासा के लोग लीज़ एग्रीमेंट साइन करने के लिए लाए उसे इंग्लिश में बनाया गया और लीज़ 25 सालों के लिए नहीं हजार सालों के लिए लिखी गई उस एग्रीमेंट में। इसके अलावा इस एग्रीमेंट में लिखा गया कि कैलासा को इन इलाकों में पूरी सोवनिटी और ऑटोनोमी दी जाएगी। एयर स्पेस से लेकर जमीन के अंदर और बाहर के सारे नेचुरल रिसोर्सेज कैलासा देश के होंगे। और इतना ही नहीं इस एग्रीमेंट में यह भी शर्त रखी गई कि अगर कैलासा के देश पर हमला किया जाता है तो बोलीविया में रहने वाले अमेज़ॉन के आदिवासी कैलासा को हमले
से बचाएंगे ताकि उसकी सोवनिटी और इंडिपेंडेंस मेंटेन रखी जा सके और उसे यूनाइटेड नेशंस में शामिल होने में समर्थन देंगे। मतलब सोच कर देखो एक फर्जी बाबा किस लेवल तक पहुंच गया स्कैम करते-करते लोगों को बेवकूफ बनाते बनाते। सितंबर 2024 से लेकर नवंबर 2024 के बीच में कैलासा के लोगों ने बोलीविया के कम से कम चार आदिवासी ग्रुप्स के साथ ऐसी ही लीज एग्रीमेंट्स की। सब कुछ प्लान के अकॉर्डिंग चल रहा था। अब इस इमेजिनरी देश को जमीन भी मिलने वाली थी। लेकिन तभी एक बोलीवियन अखबार के कुछ बहादुर जर्नलिस्ट इस पूरी खबर को एक्सपोज
कर डालते हैं। एलडेबर नाम की इस अखबार की इन्वेस्टिगेशन से सामने आया कि कैलासा ने तीन आदिवासी ग्रुप से 4.8 लाख हेक्टेयर जमीन लीज पर ली है। इस पूरे स्कैम की एग्जैक्ट जानकारी बोलीविया के सभी देशवासियों के सामने लाकर रख दी और इसका असर यह हुआ कि बोलीविया की सरकार ने इन सभी लीज एग्रीमेंट्स को रद्द कर दिया। कैलासा से जुड़े 20 लोगों को यहां गिरफ्तार किया जाता है और इन्हें कैलासा भेजने की जगह इन्हें अपनी एक्चुअल होम कंट्रीज डिपोर्ट कर दिया जाता है। ऑन द 24 ऑफ़ मार्च अथॉरिटी मेड अर् मूव टू प्रोटेक्ट दे
सोवनिटी एंड इंडजीनस लैंड एक्सप 20 नेशनल लिंक टू कैलासा द ग्रुप व्हिच इंक्लूडेड इंडिविजुअल्स ऑफ़ इंडियन ब्रिटिश एंड अमेरिकन एंड चाइनीस नेशनलिटी ये सही मायनों में एक इंटरनेशनल लेवल का स्कैम बन चुका था। नित्यानंद ने इस कैलासा स्कैम के दौरान भी अपनी फालतू की बयानबाजी बंद नहीं करी। 2020 में इसने कहा था कि पृथ्वी अंदर से खोखली है और इसके अंदर एक एलियन सिविलाइजेशन बसी है। नित्यानंद ने दावा किया कि वो दूसरे डायमेंशन से आया एक एलियन है जो कई साल धरती के अंदर मौजूद एलियन सिविलाइजेशन में रहा है। और जब उसे लगा कि उसकी
जरूरत है तो ऊपर आ गया। दिसलो इट इज नॉट सॉलिड। फ्रॉम अबव अर्थ फ्यू एलियंस केम एंड स्टेड इनसाइड द अर्थ। सो आई एम वन ऑफ द बीइंग अरुणगिरी योगेश्वर हु केम टू अर्थ फ्रॉम कैलासा वास लिविंग इनसाइड अर्थ फॉर क्वाइट अ लॉन्ग टाइम व्हेन आई सॉ आई एम नीडेड आई केम आउट आई एम प्रोसेसिंग दिस बॉडी एंड ऑपरेटिंग दिस बॉडी थ्रू दिस बॉडी आई एम रिवील एंड शेयरिंग व्हाटएवर आई नीड टू डू टू द वर्ल्ड इतना ही नहीं अपने एक और भाषण में इसने कहा कि यह 300 करोड़ लोगों को शक्तियां देने वाला है
और लोगों की दो की जगह तीन आंखें बना देगा। 300 करोड़ पीपल आर गोइंग टू मैनिफेस्ट पावर्स। आई एम गोइंग टू मेक थर्ड आई मोर कॉमन देन टू आईज। व्हिच आई हैव ऑलरेडी स्टार्टेड डूइंग नाउ इन अ वाइल्ड स्केल आई एम गोइंग टू डू। इसी तरह एक दूसरे वीडियो में नित्यानंद ने कहा कि वो एक कॉस्मिक एयरपोर्ट बना रहा है जिस पर एलियंस लैंड कर सकते हैं। आई एम लिटरली एस्टैब्लिशिंग अ पावरफुल हाई फ्रीक्वेंसी ज़ोन वेयर ऑल द हाई फ्रीक्वेंसी बीइंग्स कैन लैंड काइंड ऑफ अ कॉस्मिक एयरपोर्ट। आज के दिन नित्यानंद और कैलासा का यह
घोटाला पूरी दुनिया के सामने एक्सपोज हो चुका है। असलियत में इक्वडोर के पास कोई ऐसा आइलैंड नहीं था जिसे इसने खरीदा था। यह कैलासा का देश हमेशा से सिर्फ एक वेबसाइट पर ही एकिस्ट करता रहा है। नित्यानंद और उसके फॉलोअर्स ने पूरी दुनिया को बेवकूफ बनाया है। इसकी खुद की वेबसाइट पर आज के दिन तक अगर आप देखोगे ध्यान से लिखा है कि कैलासा एक कॉस्मिक बॉर्डरलेस नेशन है जो एक टेरिटरी की जगह एक आईडियोलॉजी को रिप्रेजेंट करता है। दुनिया भर में अपनी बेइज्जती कराने के बाद इसे भी एहसास हो गया कि कोई इस केस
झूठ पर अब यकीन नहीं करेगा कि कैलासा असली में एक फिजिकल जगह है। तो इसलिए वेबसाइट पर आज लिखा हुआ है कि यह वर्ल्ड्स ग्रेटेस्ट डिजिटल हिंदू नेशन है। एक ऐसा हिंदू राष्ट्र जो सिर्फ डिजिटली एकिस्ट करता है। 1933 का मॉनटी वीडियो कन्वेंशन जो ऐसे मामलों में इंटरनेशनल लॉ के तौर पर काम करता है। उसके मुताबिक एक देश को मान्यता एक देश होने की तभी मिल सकती है जब उसकी एक डिफाइंड टेरिटरी हो। परमानेंट पपुलेशन हो। एक सरकार हो और दूसरे देशों से रिश्ते रखने की काबिलियत हो। कैलासा के पास ना तो कोई टेरिटरी है,
ना कोई परमानेंट पॉपुलेशन है, ना कोई सरकार और ना ही कोई कैपेबिलिटी डिप्लोमेसी की। जिन लोगों ने नित्यानंद को करीब से देखा है, वह कहते हैं कि यह सिर्फ एक सस्ता जादूगर है जो छोटे-मोटे करतब दिखाकर लोगों को अपने जाल में फंसाता है। इसने कोई देश नहीं बसाया है। बस इतना कहा जा सकता है कि इसके पास इतने पैसे आते हैं कि यह अपनी नौटंकी चालू रख सके। जो अंधभक्त इसकी नौटंकी में फंसे हैं, वह आज के दिन तक इसकी बातों में यकीन करते रहते हैं। यह खुद को भगवान शिव का अवतार बताता है। कभी
खुद ही भगवान शिव कह देता है अपने आप को। अपने भक्तों को यकीन दिलाता है कि उनमें से किसी की भी मौत नहीं होने देगा। लेकिन जब असलियत में यह बीमार पड़ा अगस्त 2022 में तो इलाज कराने के लिए श्रीलंका में पॉलिटिकल असाइलम मांगने लगा ताकि वो एयर एंबुलेंस से आकर अपना इलाज करा सके। एज ऑफ जून 2025 यह फ्रॉड बाबा अभी भी फरार है। किसी को नहीं पता यह कहां छिपा बैठा है। इसके YouTube चैनल पर हर रोज इसके वीडियोस अभी भी आते हैं। लाइव वीडियो चलते रहते हैं। ये वीडियोस जिनमें यह महाराजा जैसी
कुर्सी पर बैठकर खुद को भगवान दिखाते हुए एक अननोन लोकेशन से बात करता है। कैलासा की डिजिटल एंबेसी आपके स्पैम फोल्डर में है। उसकी एक्सटर्नल अफेयर्स मिनिस्ट्री फोटोशॉप से चल रही है और देश में लोगों से ज्यादा तो नित्यानंद ने अपने आप को टाइटल्स दे दिए हैं। कभी सुप्रीम पोंटिफ, कभी डिवाइन हीलर तो कभी इंकार्नेशन ऑफ विज़डम। लेकिन इसका चाहे कुछ भी हो आप जरूर ऐसे फ्रॉड बाबाओं से चौकन्ने रहिए। अभी भी ऐसे लोग बहुत हैं हमारे देश में जो खुद को नॉन बायोलॉजिकल बताते हैं। क्लेम करते हैं कि उनके पास बहुत सी जादुई शक्तियां
हैं। जो लोग धर्म का इस्तेमाल करते हैं अपने गुनाहों को छुपाने के लिए। ऐसे फर्जीियों से बचने के लिए आम लोगों को जागरूक करना यहां बहुत जरूरी है। एआई मास्टर क्लास में अगर आप इंटरेस्टेड हैं, ज्वाइन करने का लिंक नीचे डिस्क्रिप्शन में मिल जाएगा। यह वीडियो पसंद आया तो यह वाला भी जरूर देखिए। एक और ऐसे ही फर्जी बाबा को एक्सपोज किया है जो क्लेम करता है कि उसके पास बड़ी जादुई शक्तियां हैं। यहां क्लिक करके देख सकते हैं। बहुत-बहुत धन्यवाद। [संगीत]